कोरबा

समूह की दीदियों के हाथों से बने गोबर मिट्टी के दीपक लोगों के घरों में करेंगे रोशनी

स्व सहायता समूह की दीदियां बना रही गोबर मिट्टी के दिए, गुल्लक एवं अन्य सामग्री

 

जिपं सीईओ ने की नागरिकों से समूह की दीदियों के द्वारा बनाई गई सामग्री खरीदने की अपील

जांजगीर-चांपा। स्व सहायता समूह से जुड़ी दीदियों के द्वारा गोबर एवं मिट्टी से बनाए गए दीपक, गुल्लक, मूर्तियांे के अलावा रेशम के धागोें से सजावटी सामग्री, सुगन्धित अगरबत्ती, धूपबत्ती, हवन पूजन, छेना, पूजन लकड़ी, कोसा के कपड़े तैयार किये जा रहे है। जिन्हें दीदियों के द्वारा गांव के हाट बाजार के अलावा जिला कचहरी चौक स्थित सी-मार्ट में विक्रय के लिए लगाया गया है। जिला पंचायत सीईओ डॉ. फरिहा आलम सिद्दीकी ने ग्रामीणों, शहरी नागरिकों से समूहों की दीदियों द्वारा तैयार हस्त निर्मित उत्पादों को खरीदकर उनके उत्साह को बढ़ाने की अपील की है, ताकि लोगों के साथ ही समूह की दीदियों की भी दीपावली भी दीपक की तरह जगमगाएं।
जिले में राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन बिहान से जुड़े स्व सहायता समूहों के द्वारा दीपावली के त्योहार के मद्देनजर हर बार की तरह इस बार भी परंपरागत तरीके से दीपक, गुल्लक, मूर्तियों एवं अन्य सामान तैयार किये जा रहे हैं। समूह की महिलाओं द्वारा होली, दीपावली आदि त्योहारों में विशेष रूप से कार्य करते हुए स्वरोजगार प्राप्त किया जा रहा है। इन दीदियों द्वारा दीपावली में गोबर एवं मिट्टी से बनाए गए दीपक तैयार किये जा रहे हैं, जिन्हें विभिन्न रंगों की डिजाइन देते हुए बनाया गया है। इसके अलावा हवन सामग्री के लिए गोबर से निर्मित छेना (कंडा) बनाकर भी बेचा जा रहा है।
त्योहार में बढ़ती है मांग
दीपावली त्योहार में दीपक, गुल्लक, मूर्तियों के अलावा अगरबत्ती, धूपबत्ती, रूईबाती आदि की बहुत जरूरत होती है। इसलिए इसमें मांग बहुत बढ़ जाती है। पामगढ़ विकासखण्ड की ग्राम पंचायत कमरीद की राधाकृष्णा समूह के द्वारा 4 हजार रंगबिरंगे दिए तैयार किये गये हैं। इसके अलावा कमरीद के जय गणेश स्व सहायता समूह द्वारा 5 हजार, संगम समूह 5 हजार एवं समृद्धि समूह द्वारा 3 हजार दिये तैयार कर बाजार में बेचे गए हैं। डभरा विकासखण्ड की प्रगति स्व सहायता समूह द्वारा मिट्टी, गोबर से दीपक बनाकर बाजार में बेचकर 15 हजार से ऊपर मुनाफा कमाया है। वहीं अकलतरा विकासखण्ड की कोटमीसोनार की शुभ महिला स्व सहायता समूह कई दिनों से दिए एवं अन्य मिट्टी, गोबर से सामान, गुल्लक, मटके तैयार कर रही हैं। उनके द्वारा बाजार चौक में दुकान लगाकर विक्रय किया जा रहा है, जिससे अब तक 20 हजार रूपए की मुनाफा हुआ है। तो वहीं बम्हनीडीह विकासखण्ड की राधे-राधे समूह की महिलाओं द्वारा तैयार की जा रही सामग्री का विक्रय बाजार चौक बस स्टैंड में दुकान लगाकर किया जा रहा है।
सी-मार्ट में समूह द्वारा तैयार उत्पादों मिलंेगे
महिला स्व सहायता समूहों के द्वारा तैयार उत्पादों का विक्रय छत्तीसगढ़ मार्ट (सी-मार्ट) के माध्यम से किया जा रहा है। सी-मार्ट में त्योहार को ध्यान में रखते हुए ज्योति, उजाला, महामाया, मॉ गायत्री, जय मां चंडी समूह की महिलाओं द्वारा तैयार दीपक, गुल्लक, धूपबत्ती, अगरबत्ती के अलावा कोसा से निर्मित कपड़े विक्रय के लिए रखे हैं। साथ ही हवन-पूजन के लिए छैना (कंडा) भी मिल रहा है। इसके अलावा वाशिंग पाउडर, दोना पत्तल, एल.ई.डी बल्ब, जूता चप्पल, रजिस्टर, फिनायल, हाथ पंखा, हेडलुम साडी, झाडू निर्माण, कोसा साडी, अलसी प्रोडक्ट, डिटरजेंट, सेनेटरी पैड मूंगफली आदि सामानों का विक्रय किया जा रहा है।

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